मतना खेलो तम म्हारी गेल्याँ खेल यो म्हंगा पड़ज्यागा।।
म्हारे नौजवान साथ आगे उस दिन नक्शा झड़ज्यागा।।
1
म्हारी तबाही लिखी जिनमैं सब नीति इसी बना राखी
उप्पर तैं कड़ थेपड़ो म्हारी जड़ मैं सुई चुभा राखी
किसान इब समझै सारी कसूती ढाल यो भीड़ज्यागा ।।
म्हारे नौजवान साथ आगे उस दिन नक्शा झड़ज्यागा।।
2
इतने तैँ काम ना चल्या न्यारी न्यारी जातां मैं बाँट दिए
किसानां की कड़ तोड़ दी पर कसूते ढालाँ काट दिए
हूंकार भर किसान यो राज कै साहमी अड़ज्यागा।।
म्हारे नौजवान साथ आगे उस दिन नक्शा झड़ज्यागा।।
3
बांटल्यो जात धर्म उप्पर घने दिनां ना पार पड़ैगी
किसान समझै धीरे धीरे हट हट कै मार पड़ैगी
अपणे बचा मैं सोचैगा यो धुर की लड़ाई लड़ज्यागा।।
म्हारे नौजवान साथ आगे उस दिन नक्शा झड़ज्यागा।।
4
अडाणी और अम्बानी सुणो सुणो बदेशी कम्पनी आल्यो
किसान लावा बण फूटैगा बच सकै ज्यान तो बचाल्यो
रणबीर ले ल्यो रै सम्भाला ना हाल जमा बिगड़ज्यागा।।
म्हारे नौजवान साथ आगे उस दिन नक्शा झड़ज्यागा।।
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