डॉक्टर नरेंद्र दाभोलकर थारी क़ुरबानी रंग ल्यावैगी।।
स्वतंत्र हिन्दुस्तान मैं या जरूर नया इतिहास रचावैगी।।
अग्रगामी चेतना की हत्या करकै हत्यारे बच ना पावैंगे
हर जागां डॉक्टर नरेंद्र पावैं जिस मोड़ पै ये लखावैंगे
अंध श्रद्धा उन्मूलन खातिर कतार इब बढ़ती जावैगी।।
आहात सां सन्तप्त सां सुण्या जब थारे कत्ल बारे डॉक्टर
गुस्सा हमनै घणा आरया सै हिम्मत कोण्या हारे डॉक्टर
तेरी क़ुरबानी यकीन मेरै घर घर मैं मशाल जलावैगी।।
लेखक संस्कृतकर्मी वैज्ञानिक कट्ठे हुए सैं कलाकार
पूरे हिन्दुस्तान के नर नारी हम देवां मिलकै ललकार
रूढ़िवाद की ईंट तैं ईंट देश मैं इब तावली बज पावैगी।।
हमनै बेरा उन ताकतों का जिणनै कत्ल करया थारा रै
होंश ठिकाणै सैं म्हारे जबकि खून खोल गया म्हारा रै
रणबीर सिंह नै कलम ठाई पूरी दुनिया नै जगावैगी ।।
दुलीना कांड
दुलीना कांड नै यो पूरा एक साल हो लिया रै।। सारे कातिल छूट कै आगे बुरा हाल हो लिया रै।।
1
माणस मारे पुलिस चौकी मैं सबकै स्याहमी आई रे
गुपचुप चुप करवाए नहीँ करी कानूनी कार्यवाई रै
माणस तैं बढ़कै गऊ धर्म ठेकेदार नै बात बताई रै
गऊशाला मैं नहीं ले जाते सुन्नी गऊ देवैं दिखाई रै
गऊ चमड़े पै कई जागां खड़या बबाल हो लिया रै।।
2
चमड़े के ठेके सभी गौशाला सारे कै ठवावैं देखो
गऊ के नाम पै चंदा सारा ये सबतैं ले ज्यावैं देखो
गऊआं की हड्डी चिलकैं कोये डॉक्टर ना बुलावैं देखो
गऊ की हालत गौशाला मैं कई कई मरी पावैं देखो
गऊ हिम्माती बणे हत्यारे किसा कमाल हो लिया रै।।
3
जिंदा की कोये सम्भाल नहीं मरी पै माणस मार रहे
गऊ के रक्षक चमड़े का कर करोड़ां का व्यापार रहे
बणा गऊ नै मोहरा दलितों पर कर अत्याचार रहे
अल्प संख्यक पै हमले गऊं का बणा हथियार रहे
गऊ पै करैं राजनीति खड़या यू सवाल हो लिया रै।।
4
ट्रैक्टर खेती मैं आया तो बुलध कितै कितै रैहग्या
गऊ का सम्मान समाज मैं इसे करकै फेर ढ़ेहग्या
ट्रैक्टर कम्पनी ऐश करैं यो किसान गऊ पै फैहग्या
सोचो क्यूं मार काट गऊ पै रणबीर सिंह न्यों कैहग्या
गऊ का चमड़ा आड़ै धर्म की बेढंगी चाल हो लिया रै।।