Sunday, 10 June 2018

BHARTI

पीस्याँ का जुगाड़ बनाया या धरती गहणै धरकै नै
नौकरी दिवावण चाल दिया लाखां गोज मैं भरकै नै
1
दोनों जणे आगै पाछै चाले ज्यूँ घोड़ी कै पाछै बछेरा
कितना दुखी पाग्या मेरी खातर भाईयो बाप यू मेरा
कहया सिपाही बणकै बाबू मैं दुःख दूर करूंगा तेरा
दस के बनाऊँ बीस लाख जै कदे बस चालैगा मेरा
सपने मैं चढ़ घोड़ी पै चल्या धर्मबीर सिपाही बणकै नै
2
बाबू के दिल मैं धड़का था कदे बिचौलिया पीसे खाज्या
धरती खोयी पीसे भी जाँ कदे ज्यान मरण मैं ना आज्या
कदे झूठ बहका कै बिचौलिया म्हारै थूक कसूता लाज्या
सोचै बिस्वास करना होगा न्यूएँ क्यूकर नौकरी थ्याज्या
बाबू घबराया नहीं देख्या था इसे रासे के मैं पड़कै नै
3
टूटे से ऑटो मैं बैठकै नै दोनूं शहर बीच आगे कहते
एस पी दफ्तर मैं भीड़ देखी भोत घणे चकरागे कहते
माणस ऊपर माणस चढ़रया वे एकबै घबरागे कहते 
बोली चढ़गी पंदरा पै कई बिचौलिए बतलागे कहते
सी एम की सिफारिस वे आले चालें घणे अकड़कै नै
4
साठ सीट बतावैं थे सिफारिशों का भाईयो औड़ नहीं था
कई सीएम के कुछ पीएम के टेलीफोनों का तोड़ नहीं था 
गाभरू छोरे छह फिट के उड़ै उनका कोय जोड़ नहीं था
पढ़ाई लियाकत अर गातकै कोय उड़ै बांधै मोड़ नहीं था
लाइन मैं धर्मबीर लाग्या लत्ते काढण एक एक करकै नै 
5
जिले जिले मैं पुलिस की भर्ती रूका रोला माच गया
असनाई रिश्तेदारी टोहवैं मामला दिखा साच गया
कई सिफारशी हुए भर्ती बाकि पै यो पीसा नाच गया
बिचौलियाँ के पौ बारा हरेक कर तीन दो पांच गया
बिचौलिया नै नोट गिनाये भरतू पै एक एक करकै नै
6
भर्ती होवण की खातर उड़ै हजारां छोरे आरे देखे
सुथरा छैल गात रै उनका चेहरे कति मुरझारे देखे
रिश्वत खोरी खुली होरी छोरयां कै पसीने आरे देखे
गेल्याँ हिम्मती भी ये रणबीर पाँ कै पाँ भिड़ारे देखे
लिस्ट मैं आग्या बिचौलिया लेग्या बाकि के गिण कै नै