Saturday, 18 February 2023

कई देशां के न्यारे न्यारे मनै देखे इंसान आये रै।।

 दो दिन सावर शहर , ढाका में प्रोग्राम में हिस्सेदारी के बाद कुछ विचार एक हरियाणवी रागनी के माध्यम से आप सब तक। क्या बताया भला:-

कई देशां के न्यारे न्यारे मनै देखे इंसान आये रै।।
गजब मिशाल भाईचारे की बहोत घणे भाये रै।।
1
ढाका के नेड़ै सी यो सावर शहर गया बसाया रै
लिबरेशन ताहिं सब किमैं तीस लाख नै खपाया रै
सादे भोले से माणस दीखैं इंसानी जज्बात पाये रै।।
गजब मिशाल भाईचारे की बहोत घणे भाये रै।।
2
एक दूजे की भाषा ना समझें पर काम चलाया रै
अंग्रेजी भाषा नै उड़ै म्हारा फेर यो साथ निभाया रै
नॉन वेज खाना छिकमा वैज के जुगाड़ कराये रै।।
गजब मिशाल भाईचारे की बहोत घणे भाये रै।।
3
सारे महिला पुरुषां का ईब स्वास्थ्य सबका नारा
दुनिया भर मैं गूंज रहया स्वास्थ्य हक सै म्हारा
हेल्थ असैम्बली मैं घणे युवक युवती सैं छाये रै।।
गजब मिशाल भाईचारे की बहोत घणे भाये रै।।
4
स्वास्थ्य की राजनीति पै मिलकै नै विचार किये रै
नाबराबरी दुश्मन म्हारी ये गरीब जमा मार दिये रै
रणबीर नै समझ कै तत्काल ये छन्द बनाये रै।।
गजब मिशाल भाईचारे की बहोत घणे भाये रै।।

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