बालकपन तैं माहौल आजादी ए हिन्द का पाया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
1
देश की आजादी खातर भगत सिंह को दान किया रै
भगत सिंह नै याद राख्या बख्त पै घर छोड़ दिया रै
प्रतिज्ञा पूरी करने नै खुशी से आगै कदम बढ़ाया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
2
इसतैं पहलम ब्याह की दादी नै पूरी दाब बनायी थी
मतना दाब बणावै दादी दिल की बात बताई थी
जिब पार नहीं बसाई तै पिता को प्रण याद कराया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
3
नेशनल कालेज मैं चर्चा रोज होवै थी आजादी की
गोरयाँ के कारनामे सुनते कथा देश की बर्बादी की
इंक़लाब जिंदाबाद का नारा सबनै मिलकै लाया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
4
रणबीर हाथ जोड़ लिखूँ घर छोड्या माफ़ करियो
कदे बाएं दाएं होज्यां तै मेरी निगरानी आप करियो
आपका ताबेदार भगत सिंह नम्रता से फ़रमाया रै
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
1
देश की आजादी खातर भगत सिंह को दान किया रै
भगत सिंह नै याद राख्या बख्त पै घर छोड़ दिया रै
प्रतिज्ञा पूरी करने नै खुशी से आगै कदम बढ़ाया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
2
इसतैं पहलम ब्याह की दादी नै पूरी दाब बनायी थी
मतना दाब बणावै दादी दिल की बात बताई थी
जिब पार नहीं बसाई तै पिता को प्रण याद कराया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
3
नेशनल कालेज मैं चर्चा रोज होवै थी आजादी की
गोरयाँ के कारनामे सुनते कथा देश की बर्बादी की
इंक़लाब जिंदाबाद का नारा सबनै मिलकै लाया रै।।
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
4
रणबीर हाथ जोड़ लिखूँ घर छोड्या माफ़ करियो
कदे बाएं दाएं होज्यां तै मेरी निगरानी आप करियो
आपका ताबेदार भगत सिंह नम्रता से फ़रमाया रै
यग्योपवित के मौके पै यो पिताजी सन्देश सुनाया रै।।
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