Wednesday, 24 September 2014

गाम हरयाणे के

गाम हरयाणे के
ओले हाथ नै सोले का भरोसा   नहीं रहया बताया रै ॥
के होग्या म्हारे समाज कै यो अविस्वास सारै छाया रै ॥
1
महिला की इज्जत नै रोजाना यो कौन लूट रहया
गुण्डा लेकै रिवाल्वर पूरे गाम मैं खुल्ला छूट रहया
गाम पी खून का घूँट रहया दारू नै ऊधम मचाया रै ॥
ओले हाथ नै सोले का भरोसा   नहीं रहया बताया रै ॥
2
शहरां तैं घणे गाम आज असुरक्षित होंते आवैं सैं
वंचित तबके गामां मैं मुश्किल तैं रात बितावैं सैं
ठाड़े छोरी ठा लेज्यावैं रिवाल्वर का खौफ बिठाया रै ॥
 ओले हाथ नै सोले का भरोसा   नहीं रहया बताया रै ॥
3
जो बोलैं उणनै पीटैं उनपै झूठे इल्जाम लवादें सैं
स्कूल जाण तैं छोरी घबरावैं पढ़ना ये छटवादें सैं
काबू ना आवै उनै मरवादें सैं किसा जमाना आया रै ॥
ओले हाथ नै सोले का भरोसा   नहीं रहया बताया रै ॥
4
चुप्पी साधें पार पड़ै हमनै आवाज उठानी होगी
गुंडा गर्दी पै सबनै मिलकै लगाम लगनी होगी
हिम्मत कर रणबीर नै इनके खिलाफ कलम ठाया रै ॥
ओले हाथ नै सोले का भरोसा   नहीं रहया बताया रै ॥
रणबीर सिंह
24. 9. 2014 

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